Protests erupt outside Kasba Police station as 3 arrested in alleged Kolkata college gang rape
भारत में हर जगह एक उत्साह का माहौल है और हर कोई चाहता है कि भारत इस बार विश्व कप जीते। ऐसे में अब उसे उसके विजय अभियान में सफल बनाने के लिए भगवान के द्वार भी भक्त प्रार्थना करने पहुंच रहे हैं। इसी तारतम्य में रविवार सुबह विश्वप्रसिद्ध महाकाल मंदिर में भगवान महादेव के सामने टीम भारत की जीत के लिए विशेष प्रार्थना की गई है ।
उज्जैन।भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच आज आईसीसी वर्ल्ड कप का अंतिम मुकाबला अहमदाबाद के नरेंद्र मोदी स्टेडियम में हो रहा है। इस मैच को देखने के लिए देश के हर कोने से ही नहीं बल्कि दुनिया के कई देशों के लोग यहां आए हुए हैं। भारत में हर जगह एक उत्साह का माहौल है और हर कोई चाहता है कि भारत इस बार विश्व कप जीते। ऐसे में अब उसे उसके विजय अभियान में सफल बनाने के लिए भगवान के द्वार भी भक्त प्रार्थना करने पहुंच रहे हैं। इसी तारतम्य में रविवार सुबह विश्वप्रसिद्ध महाकाल मंदिर में भगवान महादेव के सामने टीम भारत की जीत के लिए विशेष प्रार्थना की गई है ।
मंदिर के पुजारियों और भक्तों ने महाकालेश्वर ज्योतिर्लिंग मंदिर में विशेष पूजन-अर्चन किया। महाकाल मंदिर के पुजारी पंडित महेश शर्मा ने कहा कि आज हमने वर्ल्ड कप फाइनल मैच में भारत की जीत के लिए महाकाल से प्रार्थना की है। भारत खेल में ही नहीं हर क्षेत्र में विश्वगुरु बने, यही कामना भगवान महाकाल से की गई है । इससे पहले मंदिर में शिवलिंग के पास खिलाड़ियों की फोटो रखकर विजय अनुष्ठान भी किया गया।
उल्लेखनीय है कि वर्ष 2011 के बाद भारत की क्रिकेट टीम वर्ल्ड कप फाइनल का मुकाबला खेलने के लिए आज मैदान में है । इस वर्ल्ड कप में अब तक भारतीय टीम अपराजेय रही है । उसने लगातार 10 मैच जीते हैं। ऑस्ट्रेलिया ने भी फाइनल तक का सफर लगातार आठ जीतों के साथ पूरा किया है, लेकिन लीग मैच में उसे भारत और दक्षिण अफ्रीका से हार का सामना करना पड़ा था।
विकेट के लिहाज से भारत की सबसे छोटी जीत चार विकेट की है और रनों के लिहाज से 70 रन की एक बड़ी जीत भी उसकी हुई है। इसके साथ ही भारतीय टीम को मिली हर जीत में कई खिलाड़ियों का योगदान आपको सामूहिकता का अहसास करा देता है। भारतीय टीम की जीत के लिए उसके पास फिर टॉप ऑर्डर से लेकर मिडिल ऑर्डर तक हर बल्लेबाज है। कुछ ऐसी ही कहानी गेंदबाजों की भी है, जहां तेज गेंदबाजों को स्पिनर्स से पूरा सहयोग मिला है। भारत ने अब तक खेले 10 मैच में एक बार चार सौ का आंकड़ा भी पार किया है और दो बार विरोधी टीम को 100 रन के भीतर समेटा है। इसलिए ही भारतीय टीम के कप्तान रोहित शर्मा को फाइनल तक के सफर में किसी एक या दो खिलाड़ी के प्रदर्शन पर ही निर्भर नहीं रहना पड़ा है बल्कि पूरी टीम मिलकर अब तक मंजिल की तरफ बढ़ती दिखी है ।